नई दिल्ली। दिल्ली हिंसा की रिपोर्टिंग की वजह से 48 घंटों के बैन के बाद एशियानेट और मीडिया वन चैनल फिर से ऑन एयर कर दिए गए हैं। दिल्ली हिंसा में एक समुदाय विशेष का पक्ष लेने के आरोप में दिल्ली सरकार ने दो टीवी चैनलों पर 48 घंटे का प्रतिबंध लगा दिया था। उस पर आज प्रतिबंध हटा लिया गया है। सूचना प्रसारण मंत्रालय ने जिन दो टीवी चैनलों पर बैन लगाया था वो मलयालम न्यूज चैनल एशियानेट न्यूज और मीडिया वन न्यूज हैं।
सूत्रों के हवाले से बताया कि दोनों टीवी चैनलों पर यह प्रतिबंध उत्तर-पूर्वी दिल्ली में हुई हिंसा की कवरेज को लेकर लगाया गया था। सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने शुक्रवार को 48 घंटे की रोक लगाते हुए कहा था कि इस तरह की खबर से साम्प्रदायिक झगडे को बढ़ाया गया है। चैनलों को शुरुआत में कारण बताओ नोटिस जारी किया गया था और उनके जवाब दाखिल करने के बाद मंत्रालय ने पाया कि उन्होंने केबल टीवी नेटवर्क (नियमन) कानून, 1995 के तहत निर्धारित कार्यक्रम संहिता का उल्लंघन किया है।
मेरठ:-भारतीय संस्कृति और सभ्यता को मुस्लिमों से नहीं ऊंच-नीच करने वाले षड्यंत्रकारियों से खतरा। Raju Gadre राजुद्दीन गादरे सामाजिक एवं राजनीतिक कार्यकर्ता ने भारतीयों में पनप रही द्वेषपूर्ण व्यवहार आपसी सौहार्द पर अफसोस जाहिर किया और अपने वक्तव्य में कहा कि देश की जनता को गुमराह कर देश की जीडीपी खत्म कर दी गई रोजगार खत्म कर दिये महंगाई बढ़ा दी शिक्षा से दूर कर पाखंडवाद अंधविश्वास बढ़ाया जा रहा है। षड्यंत्रकारियो की क्रोनोलोजी को समझें कि हिंदुत्व शब्द का सम्बन्ध हिन्दू धर्म या हिन्दुओं से नहीं है। लेकिन षड्यंत्रकारी बदमाशी करते हैं। जैसे ही आप हिंदुत्व की राजनीति की पोल खोलना शुरू करते हैं यह लोग हल्ला मचाने लगते हैं कि तुम्हें सारी बुराइयां हिन्दुओं में दिखाई देती हैं? तुममें दम है तो मुसलमानों के खिलाफ़ लिख कर दिखाओ ! जबकि यह शोर बिलकुल फर्ज़ी है। जो हिंदुत्व की राजनीति को समझ रहा है, दूसरों को उसके बारे में समझा रहा है, वह हिन्दुओं का विरोध बिलकुल नहीं कर रहा है ना ही वह यह कह रहा है कि हिन्दू खराब होते है और मुसलमान ईसाई सिक्ख बौद्ध अच्छे होते हैं! हिंदुत्व एक राजनैतिक शब्द है !...